देहरादून। उत्तराखंड विधानसभा चुनाव को लेकर इन दिनों प्रदेश में सियासी माहौल गरमाया हुआ है। सभी राजनीतिक दल अपने-अपने दावे पेश कर चुनावी जंग में फतह हासिल करने की जुगत में लगे हैं। इसी बीच काँग्रेस पार्टी ने उत्तराखंड की जनता को बड़ी राहत देने का वादा किया है।
काँग्रेस पार्टी ने उत्तराखंड की जनता को भरोसा दिलाते हुए वादा किया कि यदि विधानसभा चुनाव में काँग्रेस पार्टी की जीत हुई और उत्तराखंड में कांग्रेस पार्टी की सरकार बनी तो रसोई गैस के दाम 500 रुपये के पार नहीं जाएंगे।
काँग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता गौरव वल्लभ ने देहरादून में पत्रकारों से बातचीत के दौरान रसोई गैस सिलेंडर को लेकर एक आंकड़ा जनता के सामने पेश किया। उनके अनुसार देहरादून में वतर्मान में रसोई गैस सिलेंडर की कीमत 919 रुपये है जिसमें 419 रुपये की सब्सिडी का खर्च अगर कांग्रेस की सरकार बनती है तो वह उठाएगी । वहीं प्रदेश में एक परिवार प्रतिवर्ष रसोई गैस के लगभग साढ़े छह (6.25) सिलेंडर की खपत करता है।
काँग्रेस प्रवक्ता गौरव वल्लभ के अनुसार यदि सिलेंडर पर सरकारी सब्सिडी 419 को परिवार की सिलेंडर की कुल वार्षिक खपत 6.25 से गुणा किया जाए तो 2,619 प्रति वर्ष के करीब होगी। काँग्रेस की गणना के अनुसार उत्तराखंड में 24 लाख परिवार है जो रसोई गैस का उपयोग करते हैं। अब यदि 2,619 को 24 लाख परिवारों की संख्या से गुणा किया जाए तो ये संख्या 629 करोड़ प्रतिवर्ष के लगभग बैठती है। वहीं उत्तराखंड का वार्षिक बजट 56 हज़ार करोड़ है। तो 629 करोड़ 56 हज़ार करोड़ का लगभग 1.1 प्रतिशत है। इस आंकलन के अनुसार काँग्रेस ये दावा कर रही है कि रसोई गैस के दाम सरकार बनने पर 500 रुपये से कम कर दिये जायेंगे।
कहना होगा कि कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता गौरव वल्लभ ने बहुत ही सही ढंग से इस गणित को उत्तराखंड की जनता के सामने रखा है। उनके इस प्रस्तुतिकरण से आलोचकों का मुँह पर ताले लगना स्वभाविक है। वहीं कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता ने बिना किसी राजनीतिक दल पर आरोप लगाए कहा कि कांग्रेस पार्टी की प्राथमिकता अवैध खनन के प्रचार और कोरोना टेस्टिंग के नाम पर घोटाले करने की कतई नहीं है। उन्होंने कहा कि काँग्रेस की मुख्य प्राथमिकताओं में से एक रसोई गैस सिलेंडर की कीमत कम करने की है, जिससे उत्तराखंड में प्रत्येक परिवार को 500 रुपये से कम कीमत में रसोई गैस उपलब्ध हो सके। बहरहाल काँग्रेस के द्वारा विधानसभा चुनाव में उठाए गए इस अहम मुद्दे व आमजन के लिए की गई पार्टी की इस पहल की हर जगह प्रशंसा होती नजर आ रही है। अब देखना ये होगा कि काँग्रेस के इस बड़े दावे और वादे का उत्तराखंड के विधानसभा चुनाव पर कितना असर होता है।